Complaint चांदनी बिछी जमीं पर

  • Amar Ujala Office Lucknow, Address and Phone Number - चांदनी बिछी जमीं पर
    मनोज कुमार on 2021-10-24 08:39:51

    शीर्षक- चांदनी बिछी जमीं पर
    दिनांक- 24/10/2021
    विधा- कविता


    अब तो आ गई है।
    चांदनी जमीं पर।
    आओ चले खेले सनम..।
    खुल के मस्ती में झूमकर


    थोड़ा हो जाएगा वहां पर प्यार।
    ओर भूली बिसरी बाते।
    तन्हा रहेंगे हम दोनों इसी चांदनी में।
    खुशी- खुशी कट जाएगी राते।



    जो होगी दिल की बाते।
    आज वहां बयां कर देंगे।
    खुली जो तेरी काली जुल्फ़े।
    चांद तारो से सजा देंगे।


    बिछी है चमक चांदनी।
    राह वो देख रही होगी।
    देर मत करो सनम आज दिन है रविवार।
    चलो चल के नहा ले, जवान चांदनी होगी।


    ना कोई डर है ना ही कोई आएगा।
    क्या खुदा ने दोनों के लिए भेजा है चांदनी को।
    मत बढ़ाओ" यारा" बाते करते- करते।
    लंबी हो जाएगी कहानी को।



    हम डूब गए इतनी सी चमक देखकर।
    जब दोनों साथ में होंगे, कितनी खुशी आएगी।
    ओढ़ लेंगे चांदनी की आंचल।
    तेरे दामन में जब होंगे, हमें सुरूर छाएगी।।



    लेखक/कवि- मनोज कुमार
    गोंडा जिला उत्तर प्रदेश
    मो. न.7905940410